मृत्यु से 40 दिन पहले ये क्यों कहा सिद्धार्थ ने?

सिद्धार्थ शुक्ला का दिल का दौरा हुआ था। सिद्धार्थ ने सीने में दर्द की शिकायत की और पीने के लिए पानी की मांग की, परिवार ने पुलिस को बताया।

ठंडा पानी पीकर सिद्धार्थ शुक्ला सो गए। अगली सुबह उन्होंने फिर सीने में दर्द बताया और पानी मांगा, लेकिन पीते-पीते वह बेहोश हो गए।

तुरंत सिद्धार्थ को कूपर हॉस्पिटल ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया था।

सिद्धार्थ की मौत से 40 दिन पहले किए गए उनके ट्वीट ने चर्चा बटोरी। यह था कि "नाम करो तो ऐसा कि लोग तुम्हें हराने की कोशिश नहीं, साजिश करें"।

सिद्धार्थ शुक्ला की मृत्यु से दुखी प्रशंसकों ने इस ट्वीट को देखा और सोचा कि शायद मनोरंजन क्षेत्र में किसी ने उन्हें धोखा दिया है।

साथ ही, 10 अगस्त 2021 को एक प्रशंसक ने सिद्धार्थ शुक्ला की सेहत को लेकर एक ट्वीट किया। उन्होंने लिखा कि सिद्धार्थ दिखते हैं कि वे फिट नहीं हैं।

तब प्रशंसक को सिद्धार्थ शुक्ला ने बताया कि वे दवा ले रहे हैं और इसके साइड इफेक्ट्स से उनका वजन बढ़ गया है।

2017 में सिद्धार्थ शुक्ला की मौत के बाद उनका एक और ट्वीट चर्चा में रहा, जिसे देख फैंस विचलित हो गए।

सिद्धार्थ शुक्ला ने इस ट्वीट में अपनी मौत का जिक्र किया था। "मौत, जिंदगी का सबसे बड़ा नुकसान नहीं है, उन्होंने लिखा - बड़ा नुकसान वो है, जो जीते जी हमारे भीतर मर जाता है।"